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Tuesday, February 23, 2010

फाल्गुन में तुम आती याद

फाल्गुन में तुम आती याद
रंगों से जुडी तेरी हर बात/
मन होता जाये बीती रात
भूला मैं फिर अपनी  जात /
बिखरे है सब ओर प्रेम पात
आँखों ने आँखों मानी मात /
(भाई मनोज के आग्रह पर प्रेम कविता की नाकाम कोशिस )

5 comments:

  1. khoob shaandar koshish rahee.............
    Badhai ...........

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  2. sundar....badhai
    http://kavyamanjusha.blogspot.com/

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  3. यह प्रयास भी बेहतरीन रहा, राकेश भाई.

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  4. nakam koshis men yah hal to pooree koshis men kya hoga bhaee, bahut achchhee

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